निखत ज़रीन का जीवन परिचय | Nikhat Zareen Biography In Hindi
निखत ज़रीन पेशे से भरतीय मुक्केबाज है। उन्होंने 2022 के महिला विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता है ।उन्होंने 2022 में इस्तांबुल , तुर्की में आयोजित ” महिला विश्व चैंपियनशिप ” में 52 किलो वर्ग में थाईलैंड की जितपोंग जूतामास को एक तरफा 5-0 से हार कर स्वर्ण पदक हासिल किया था।
उन्होंने अपनी जिंदगी में मेहनत और सघर्ष करके सफलता हासिल किया है। कारण हमारे समाज में एक लड़की को बॉक्सिंग करना पसंद नहीं करते है। मगर उन्होंने समाज और रिश्तेदारों की बातें को टाल कर अपने सपने केलिए सघर्ष करती रही थी।
वह आज भारत के हजारों लड़कियों केलिए प्रेरणा का माध्यम बन पाई है। आपको एक बार जरूर उनकी जिंदगी की कहानी पड़नी चाहिए।

निखत ज़रीन का बॉयोडाटा
नाम | निखत जरीन |
पेशा | मुक्केबाज |
चर्चा | 2022 के महिला विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता है |
जन्म | 14 जून 1996 |
जन्म स्तान | निजामाबाद, तेलंगाना, भारत |
उम्र | 26 साल (2022) |
घृहनगर | निजामाबाद, तेलंगाना, भारत |
नागरिकता | भारतीय |
लंबाई | 6 फीट |
वजन | 52 किलो |
वजन वर्ग | फ्लाइवेट |
धर्म | कइस्लाम |
आँखों का रंग | काला |
बालों का रंग | भूरा |
स्कूल | निर्मला हृदय गर्ल्स हाई स्कूल, निजामाबाद |
कॉलेज | ए भी कॉलेज , हैदराबाद , तेलंगाना |
शिखयगत जिग्यता | स्नातक (काला ) |
पिता | मोहम्मद जमील अहमद |
माता | परवीन सुल्ताना |
चाचा | शमशामुद्दीन (बॉक्सिंग कोच) |
वैवाहिक स्थिति | अविवाहित |
कोच | इमानी चिरंजीवी , आरवी राव |
शौक | घूमना |
पहली बार मुकेबाजी | 13 साल की उम्र |
मासिक आय | ₹ 1 लाख रुपए |
नेटवर्थ | ₹ 1 कोरोड़ रुपए |
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निखत ज़रीन की सुरुअति जिंदगी
निखत ज़रीन का जन्म 14 जून 1996 को निजामाबाद, तेलंगाना, भारत में हुआ था। उनका जन्म एक मध्यबर्ती इस्लाम परिवार में हुआ था। उनके पिताजी का नाम मोहम्मद जमील अहमद है । जोकि पेशे से एक कंपनी में सेल्स मेन का काम करते है । उनके अम्मी का नाम परवीन सुल्ताना है । उनके अम्मी घृहिणी है। उनके चाचा का नाम शमशामुद्दीन है । जोकि पेशे से बॉक्सिंग कोच थे। निखत अपने परिवार में 4 बहनों से सबसे बड़ी बहन है।
उन्होंने बचंपन में अपने कि चाचा बॉक्सिंग करते देख बहोत रोमाँचित हुई थी। इससे उनकों धीरे धीरे बॉक्सिंग शिख ने केलिए रुचि आने लगा था । इसलिए उन्होंने अपने पिताजी से बॉक्सिंग शिखने केलिए अनुमति माँगी थी । उनके पिताजी ने उन्हें बॉक्सिंग शिखने केलिए पूरा सहजोग किया था।
उन्होंने 13 साल की उम्र से सबसे पहले अपने पिताजी और चाचा जी से बॉक्सिंग शिखणा सुरु किया था। इसके बाद उन्होंने स्पोर्ट्स ऑथिरिटी ऑफ इंडिया में प्रशिखन लिया था। उनकों बॉक्सिंग शिखने अपने परिवार और रिश्तेदारों ने बहोत विरोध किया था। मगर उन्होंने अपने कठिन मेहनत और संघर्ष से सफलता हासिल किया है।
निखत ज़रीन का पढाई
उन्होंने अपनी सुरुअति पढ़ाई निर्मला हृदय गर्ल्स हाई स्कूल, निजामाबाद से किया था। वह हर रोज 4 से 6 घंटे तक बॉक्सिंग सीखा करती थी। जिसके कारण उनकों पढाई में ज्यादा ध्यान नहीं दे पाती थी। उनकों आगे की पढ़ाई करने में कोई भी रुचि नहीं था। मगर उनके पिताजी के कहने पर आगे की पढ़ाई केलिए राजी हो गई थी । इसके बाद उन्होंने आगे की पढ़ाई केलिए ए भी कॉलेज , हैदराबाद , तेलंगाना में दाखिल किया था। इस कॉलेज से उन्होंने काला में स्नातक की पढ़ाई किया था ।
निखत ज़रीन का मुक्केबाजी कैरियर
उन्होंने 13 साल की उम्र से सबसे पहले अपने पिताजी और चाचा जी से बॉक्सिंग शिखणा सुरु किया था। उन्होंने अपने कॉलेज के तरफ से जालंधर में आयोजित ऑल इंडिया इंटर -यूनिवर्सिटी बॉक्सिंग चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीत था।
इसके बाद उन्होंने 2009 में स्पोर्ट्स ऑथिरिटी ऑफ इंडिया में कोच आरवी राव से प्रशिखन लिया था। उनकों 2010 में अच्छा बॉक्सिंग खलने केलिए ” गोल्डन बेस्ट बॉक्सर ” से सम्मानित किया गया था।
उन्होंने 2011 में एआईबीए महिला युवा और जूनियर विश्व चैंपियनशिप में भारत के लिए स्वर्ण पदक हासिल किया था। इसके बाद उन्होंने 2011 में बैंकॉक में आयोजित थाईलैंड ओपन इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में जरीन ने रजत पदक हासिल किया था।
उन्होंने 2011 में तुर्की आयोजित महिला जूनियर और यूथ वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में उनकों फ्लाइवेट वर्ग में स्वर्ण पदक हासिल किया था। उन्होंने इस प्रतियोगिता में तुर्की में मुक्केबाज उलकू डेमीर को 27:19 स्कोर से 3 राउंड से हरा दिया था।
उन्होंने 2013 में बुलगारीया में आयोजित महिला जूनियर और युवा विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में रजत पदक हासिल किया था। इसके बाद उन्होंने 2014 में सरबिया के नोवी सैड में आयोजित तीसरे नेशंस कप इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में फिर से स्वर्ण पदक हासिल किया था। इस प्रतियोगिता में उन्होंने 51 किलो वर्ग में रूस की पल्टसेवा एकातेरिना को हराया था।
उन्होंने 2015 में असम में आयोजित 16वीं सीनियर महिला राष्ट्रीय मुक्केबाजी चैंपियनशिप स्वर्ण पदक हासिल किया था। इसके बाद उन्होंने 2019 में भारत मे आयोजित
स्ट्रैंडजा मेमोरियल बॉक्सिंग टूनामेंट में स्वर्ण पदक हासिल किया था।
उन्होंने 2021 में टोकियो ओलंपिक में 51 किलो वर्ग से भारत के तरफ खलने केलिए मैरी कॉम के साथ ट्रायल करवाने की मांग किया था। मगर मैरी कॉमबहोत आसानी से 9 -1 के स्कोर से ट्रायल प्रतिजोगिता को जीत लिया था। उनकों 2021 टोकियो ओलंपिक में खलने का मौका नहीं मिला था।
उन्होंने 2022 में भारत आयोजित 73वे स्टैंडजा मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में स्वर्ण पदक हासिल किया था। उन्होंने इस प्रतिजोगिता मे यूक्रेन की तेतियाना कोब को 4-1 से हराकर स्वर्ण पदक हासिल किया था।
2022 स्ट्रेंड्ज़ा मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंटमें जरीन ने यूक्रेन की तेतियाना कोब को हराकर तीन बार कि यूरोपिय चैंपियनशिप की पदक विजेता को 4-1 से हराकर स्वर्ण पदक हासिल किया था।
मुक्केबाज | साल | वर्ग |
मैरी कॉम | 2000 | 45 किलो |
मैरी कॉम | 2005 | 46 किलो |
मैरी कॉम | 2006 | 46 किलो |
सरिता देवी | 2006 | 52 किलो |
जेनी आरएल | 2006 | 63 किलो |
लेखा केसी | 2006 | 75 किलो |
मैरी कॉम | 2008 | 46 किलो |
मैरी कॉम | 2010 | 48 किलो |
मैरी कॉम | 2018 | 48 किलो |
निखत जरीन | 2022 | 52 किलो |
निखत ज़रीन का 2022 महिला विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप
उन्होंने 2022 में इस्तांबुल , तुर्की में आयोजित ” महिला विश्व चैंपियनशिप ” में 52 किलो वर्ग में थाईलैंड की जितपोंग जूतामास को एक तरफा 5-0 से हार कर स्वर्ण पदक हासिल किया था।
वह 5वी महिला विश्व चैंपियनशिप जितने बाली महिला बन गई है। इससे पहले 2018 के महिला विश्व चैंपियनशिप में मैरी कॉम में स्वर्ण पदक हासिल किया था। इस प्रतियोगिता से अभ तक भारत ने 10 स्वर्ण पदक हासिल किया है ।
निखत ज़रीन का पुरस्कार
प्रतिजोगिता | साल | देश | पदक/अवार्ड्स |
इरोड नेशनल | 2010 | भारत | गोल्डन बेस्ट बॉक्सर |
एआईबीए महिला युवा और जूनियर विश्व चैंपियनशिप | 2011 | भारत | स्वर्ण पदक |
महिला जूनियर और यूथ वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप | 2011 | तुर्की | स्वर्ण पदक |
थाईलैंड ओपन इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट | 2011 | बैंकॉक , थाईलैंड | रजत पदक |
महिला जूनियर और युवा विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप | 2013 | बुलगारीया | रजत पदक |
तीसरे नेशंस कप इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट | 2014 | सरबिया | स्वर्ण पदक |
16वीं सीनियर महिला राष्ट्रीय मुक्केबाजी चैंपियनशिप | 2015 | भारत | स्वर्ण पदक |
स्ट्रैंडजा मेमोरियल बॉक्सिंग टूनामेंट | 2019 | भारत | स्वर्ण पदक |
स्ट्रेंड्ज़ा मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट | 2022 | भारत | स्वर्ण पदक |
73वे स्टैंडजा मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट | 2022 | भारत | स्वर्ण पदक |
स्ट्रेंड्ज़ा मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट | 2022 | भारत | स्वर्ण पदक |
महिला विश्व चैंपियनशिप | 2022 | इस्तांबुल , तुर्की | स्वर्ण पदक |
निखत ज़रीन के बारे में रोचक बातें
* उन्होंने 13 साल की उम्र से बॉक्सिंग करना सुरु कर दिया था।
* उनकों निजामाबाद, तेलंगाना का आधिकारिक ब्रांड अंबेसडर बनाया गया है ।
* उनकों बैंक ऑफ इंडिया ,एसी गार्ड्स ,हैदराबाद के अंचल कार्यालय में स्टाफ ऑफिसर की नॉकरी मिला है ।
* उन्होंने 2018 में एडिडास का ब्रांड अंबेसडर का काम किया था।
निखत ज़रीन का नेटवर्थ
मासिक आय | ₹ 1 लाख रुपए |
नेटवर्थ | ₹ 1 कोरोड़ रुपए |
FAQ :-
निखत ज़रीन कौन है ?
निखत ज़रीन पेशे से भरतीय मुक्केबाज है। उन्होंने 2022 के महिला विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता है ।
निखत ज़रीन की उम्र कितनी है ?
निखत ज़रीन की उम्र 26 साल (2022) है ।
निष्कर्ष :-
नमस्कार मेरे प्रिय पाठक आपको निखत ज़रीन के जिंदिगी बारे में जान कर कैसा लगा अपना मत कमेंट में प्रकाश करे । उनकी जिंदगी की मेहनत और संघर्ष हैम सबको परित करती है । इसलिए कभी भी मेहनत करना नहीं छोड़िये ।
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